नौ साल में भारत ने स्वास्थ्य सेवाओं में हासिल की है बड़ी उपलब्धियां : प्रो. राकेश सिन्हा

नौ साल में भारत ने स्वास्थ्य सेवाओं में हासिल की है बड़ी उपलब्धियां : प्रो. राकेश सिन्हा

बेगूसराय, 26 जून । प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के नेतृत्व वाली सेवा, सुशासन और गरीब कल्याण की सरकार के नौ वर्ष पूरा होने पर भारतीय जनता पार्टी द्वारा व्यापक पैमाने पर महा जनसंपर्क अभियान चलाकर सरकार की योजनाओं को घर-घर पहुंचाया जा रहा है।

भाजपा के इस अभियान के तहत राज्यसभा सदस्य प्रो. राकेश सिन्हा अपने गृह जिला बेगूसराय में प्रवास कर निरंतर सभी वर्ग के लोगों से मिल रहे हैं। योजना के लाभार्थियों से संपर्क कर रहे हैं। इसी कड़ी में चिकित्सकों से मिल कर मोदी सरकार द्वारा स्वास्थ्य संबंधी सुधारों की चर्चा की है।

प्रो. राकेश सिन्हा ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की सरकार ने स्वास्थ्य सेवाओं में बड़ी उपलब्धियां हासिल किया है। नए मेडिकल कॉलेज और प्रधानमंत्री जन औषधि केन्द्र खोले गए, अस्पतालों में आधुनिक सुविधाएं उपलब्ध कराई। निश्चय ही देश भर के स्वास्थ्य के क्षेत्र का यह अमृत काल है।

चिकित्सा के बुनियादी ढांचे को मजबूत करने के उद्देश्य से 64 हजार 190 करोड़ का आवंटन मोदी सरकार के द्वारा किया गया है। आयुष्मान भारत योजना के तहत पांच करोड़ से ज्यादा लोगों को पांच लाख तक की स्वास्थ्य सुविधा प्रदान किया जा चुका है। हेल्थ फॉर ऑल के तहत 10.7 करोड़ परिवारों को स्वास्थ्य बीमा कवरेज में लाया गया।

नरेन्द्र मोदी के कुशल नेतृत्व और दूरदर्शिता के फलस्वरूप मेड इन इंडिया टीका द्वारा भारत अपने देश को महामारी से बचाने में विश्व में नंबर एक पर रहा। विश्व का सबसे बड़ा मुफ्त टीकाकरण आज भी अनवरत चालू है। कोविड से लड़ने के लिए प्रतिदिन दस से 20 लाख पीपीई किट का उत्पादन किया गया।

देश में 15 सौ से ज्यादा आक्सीजन संयंत्रों की स्वीकृति दी गई। पीएम केयर फंड के माध्यम से पांच हजार मेड इन इंडिया वेंटिलेटर अस्पतालों को दिए गए। प्रधानमंत्री भारतीय जन औषधि परियोजना के द्वारा देश में 9308 जन औषधि केंद्र खोले गए। जहां बाजार मूल्य से 90 प्रतिशत तक कम कीमत पर 18 सौ से ज्यादा तरह की दवाएं और तीन सौ से ज्यादा तरह के सर्जिकल उपकरण जरूरतमंदों को दी जा रही है।

दवा और हार्ट के स्टेंट के अधिकतम मूल्य को नियंत्रित कर मरीजों को राहत दी गई। राष्ट्रीय चिकित्सा योजना के तहत आयोग बनाकर चिकित्सा शिक्षा में माफियाओं पर लगाम लगाया गया। ज्यादा चिकित्सक उपलब्ध कराने के लिए नए नए मेडिकल कॉलेज खोले गए। देश में 15 नए एम्स खोले गए, आज 23 एम्स एवं 660 मेडिकल कॉलेज के द्वारा एमबीबीएस की एक लाख एक हजार 43 सीट और पीजी की 65 हजार 335 सीटें उपलब्ध कराई गई है।

एमबीबीएस के पाठ्यक्रम में परिवर्तन कर छात्रों के तनाव को कम करने तथा उन्हें ज्यादा कंपीटिटिव बनाने की कोशिश की गई है। राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन (एनएचएम) के तहत 15 कार्यक्रमों को मिलाकर उसमें आमूलचूल सुधार लाया गया। टीबी कार्यक्रम, पोलियो कार्यक्रम, मातृत्व सेवा कार्यक्रम, शिशु टीका कार्यक्रम में सुधार और इसकी उपलब्धता के लिए 2.74 लाख अतिरिक्त स्वास्थ्य मानव संसाधन प्रदान किए गए।

आईएनएपी की शुरुआत जून 2014 में की गई और 2030 तक नवजात मृत्यु दर एवं स्टिल वर्थ रेट को कम करने का प्रयास किया जा रहा है। मिशन इन्द्रधनुष के तहत पांच करोड़ 65 लाख से अधिक गर्भवती महिलाओं और बच्चों का टीकाकरण किया गया। कुल मिलाकर कहें तो स्वास्थ्य के क्षेत्र में भी आमूलचूल परिवर्तन कर मोदी सरकार ने पूरी व्यवस्था को आत्मनिर्भर बना दिया है।