देहरादून, 15 सितम्बर । नैनीताल के पास स्थित सैनिक स्कूल घोड़ाखाल में हिंदी पखवाड़े का आयोजन किया जा रहा है। यहां हिंदी दिवस पर वरिष्ठ वर्ग की वाद-विवाद प्रतियोगिता का आयोजन किया गया। इस प्रतियोगिता में छात्र प्रियांशु कुनियाल प्रथम, छात्र शाश्वत राय एवं लक्ष्य प्रताप सिंह संयुक्त रूप से द्वितीय एवं छात्र कुशाग्र गंगवार ने तृतीय स्थान प्राप्त किया।
हिंदी पखवाड़ा के अंतर्गत विभिन्न प्रतियोगिताएं आयोजित हो रही हैं। इनमें 1 सितंबर को कनिष्ठ वर्ग की वाद-विवाद प्रतियोगिता, 4 सितंबर को शब्द ज्ञान प्रतियोगिता, 8 सितंबर को कनिष्ठ एवं वरिष्ठ वर्ग के लिए निबंध प्रतियोगिता, 12 सितंबर को कक्षा 6 के लिए श्रुतलेख एवं सुलेख प्रतियोगिता, 13 सितंबर को गद्य वाचन एवं काव्य पाठ प्रतियोगिता एवं विद्यालय के कला शिक्षक डी. पी. नायक के निर्देशन में कक्षा स्तरीय भाव-चित्र एवं भित्ति-पत्रिका प्रतियोगिताएं आयोजित की गयीं। संपूर्ण प्रतियोगिताओं के अंकों के आधार पर सदन स्तर पर प्रथम स्थान के साथ चल वैजयंती प्राप्त की केसरी सदन ने, द्वितीय स्थान मिला कुमाऊं सदन को एवं तृतीय स्थान मिला शिवालिक सदन को। विजेता छात्र-छात्राओं को पुरस्कृत किया गया।
शुक्रवार को आईएमए के जनसम्पर्क अधिकारी रक्षा ले. कर्नल मनीष श्रीवास्तव ने बताया कि कैंटोनमेंट बोर्ड, नैनीताल द्वारा संविधान के प्रति जागरूकता बढ़ाने के लिए आयोजित नुक्कड़ नाटक में सैनिक स्कूल घोड़ाखाल के छात्रों का प्रदर्शन शानदार था। इसके लिए कैडेट नाईशा डंगवाल, पर्णिका सिंह, निकुंज, पार्थ तोमर आदि को प्रमाण पत्र देकर सम्मानित किया गया।
मुख्य अतिथि गीतिका जोशी ने अपने व्याख्यान में सभी विजेताओं के कठोर परिश्रम को सराहा। उन्होंने विद्यालय के छात्रों से आग्रह किया कि जीवन में दान करना है तो शिक्षा का दान कीजिए। हमें समाज में समानता स्थापित करने के लिए आर्थिक रूप से विभिन्न लोगों को कपड़े-रुपये देकर उनकी सहायता मात्र नहीं करनी है वरन उनको अपने बराबर लाने के लिए उन्हें शिक्षित भी करना है। वास्तव में सही मायनों में लोकतंत्र को स्थापित करने में शिक्षा की ही भूमिका होती है।
विशिष्ट अतिथि के रूप में श्वेता डंगवाल, निर्णायक मंडल के रूप में सेंट मेरीस, नैनीताल से सेवानिवृत्त हिंदी अध्यापिका आशा कांडपाल, रेनू अरोरा, पार्वती जोशी उपस्थित थीं।
विद्यालय के प्रधानाचार्य ग्रुप कैप्टन विजय सिंह डंगवाल ने मुख्य अतिथि को स्मृति चिह्न देकर सम्मानित किया। इसके साथ ही सेंट मेरीस नैनीताल से पधारे निर्णायक मण्डल को भी उपहार देकर सम्मानित किया।